Chapter 4

पदार्थों का पृथक्करण

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प्रश्न 1: मिश्रण से आप क्या समझते हैं?

उत्तर: जब दो या दो से अधिक पदार्थ बिना रासायनिक परिवर्तन के किसी भी अनुपात में मिलते हैं, तो उसे मिश्रण कहते हैं। जैसे – हवा, शरबत, मिट्टी आदि।

प्रश्न 2: पृथक्करण किसे कहते हैं?

उत्तर: किसी मिश्रण से उपयोगी और अनुपयोगी पदार्थों को अलग करने की प्रक्रिया को पृथक्करण कहते हैं।

प्रश्न 3: पृथक्करण की आवश्यकता क्यों है?

उत्तर: पृथक्करण की आवश्यकता होती है—

अवांछनीय पदार्थ हटाने के लिए – जैसे चावल से कंकड़ अलग करना।

उपयोगी पदार्थ प्राप्त करने के लिए – जैसे समुद्री जल से नमक प्राप्त करना।

शुद्ध पदार्थ प्राप्त करने के लिए – जैसे गन्ने के रस से शक्कर बनाना।

स्वास्थ्य व पर्यावरण सुरक्षा के लिए – जैसे धुएँ से अशुद्ध कण हटाना।

 4. खदानों से प्राप्त कोयले से लोहे के टुकड़ों को पृथक करने के लिए किस विधि का उपयोग किया जाता है?

 उत्तर: चुम्बकीय पृथक्करण विधि का उपयोग किया जाता है क्योंकि लोहे के टुकड़े चुम्बक से आकर्षित हो जाते हैं जबकि कोयला नहीं।

 5. मिट्टी के तेल तथा पानी के मिश्रण को आप किस विधि से पृथक करेंगे? सचित्र स्पष्ट कीजिए।

 उत्तर: मिट्टी के तेल और पानी को पृथक्कारी कीप (Separating Funnel) द्वारा पृथक किया जाता है।
यह दोनों द्रव अमिश्रणीय होते हैं — पानी भारी होता है और नीचे बैठता है, जबकि मिट्टी का तेल ऊपर रहता है।
चित्र: (आप चाहें तो मैं इसका चित्र बना कर दे सकता हूँ।)

 6. दैनिक जीवन में निधारने की विधि द्वारा पृथक्करण के दो उदाहरण दीजिए।

 उत्तर: चावल धोने के बाद ऊपर का पानी अलग करना।

मिट्टी मिले पानी को स्थिर रखने के बाद ऊपर का साफ पानी अलग करना।

 7. भारण (Loading) क्या है?

 उत्तर: जब गंदले जल में फिटकरी घुमाई जाती है, तो यह मिट्टी के कणों को भारी बना देती है। वे नीचे बैठ जाते हैं और जल साफ हो जाता है। इस प्रक्रिया को भारण कहते हैं।

8. अपकेंद्रण (Centrifugation) क्या है?

 उत्तर: जब किसी मिश्रण को तेज़ी से घुमाया जाता है, तो भारी कण बाहर की ओर जाकर नीचे बैठ जाते हैं। इस प्रक्रिया को अपकेंद्रण कहते हैं।
उदाहरण – दूध से क्रीम निकालना, प्रयोगशालाओं में रक्त कोशिकाएँ पृथक करना।

9. छानने (Filtration) की विधि क्या है?

 उत्तर: जब किसी मिश्रण को छन्ना कागज से गुजारा जाता है, तो उसमें मौजूद अविलेय ठोस पदार्थ (जैसे मिट्टी) छन्ना कागज पर रुक जाते हैं और तरल भाग नीचे निकल आता है। इस विधि को छानना कहते हैं।

 10. छानने की प्रक्रिया में किन उपकरणों का उपयोग किया जाता है?

 उत्तर: बीकर, कीप, छन्ना कागज, काँच की छड़, स्टैण्ड, प्याली आदि का उपयोग किया जाता है।

11. छानने की विधि का दैनिक जीवन में कहाँ उपयोग होता है?

 उत्तर: घरों में जल फिल्टर द्वारा पानी छानने में।

दूध से मलाई छानने में।

पेय पदार्थों से अशुद्धियाँ हटाने में।

12. जल शोधन संयंत्रों में किन विधियों का प्रयोग होता है?

 उत्तर: अवसादन (Sedimentation)

निधारना (Decantation)

भारण (Loading)

छानना (Filtration)

13. सिरेमिक फिल्टर (Ceramic Candle Filter) कैसे कार्य करता है?

 उत्तर: यह एक सरंध (porous) वस्तु होती है जो पानी में मौजूद ठोस अशुद्धियों को रोक लेती है। साफ जल केण्डल के नीचे एकत्रित हो जाता है और पीने योग्य बन जाता है।

14. छन्ना कागज को शकु (कोन) की आकृति में कैसे मोड़ा जाता है?

उत्तर: पहले छन्ना कागज को दो बार मोड़ा जाता है।

इसके बाद एक भाग को खोलकर कोन बनाया जाता है।

इसे कीप में इस तरह लगाया जाता है कि वह अच्छे से बैठ जाए।

15. जल संस्थानों में जल को शुद्ध करने के लिए किन विधियों का प्रयोग किया जाता है?

 उत्तर: जल को शुद्ध करने के लिए निम्नलिखित विधियाँ अपनाई जाती हैं –

अवसादन (Sedimentation)

निधारना (Decantation)

भारण (Loading)

छानना (Filtration)

क्लोरीनीकरण (Chlorination) – हानिकारक जीवाणुओं को नष्ट करने के लिए।

16. मल-जल को साफ करने के लिए किस विधि का प्रयोग किया जाता है?

 उत्तर: मल-जल को साफ करने के लिए धातु के बड़े फिल्टरों द्वारा छाना जाता है जिससे ठोस अशुद्धियाँ अलग हो जाती हैं और नालियाँ नहीं रुकतीं।

17. नालियों में पॉलीथीन और कचरा क्यों नहीं डालना चाहिए?

 उत्तर: नालियों में पॉलीथीन और घर का कचरा डालने से जल निकासी रुक जाती है, जिससे मलजल जाम हो जाता है और गंदगी फैलती है।

18. वाष्पीकरण (Evaporation) क्या है?

 उत्तर: जब किसी द्रव मिश्रण को गरम कर उसमें से विलायक (जैसे जल) को वाष्प बनाकर अलग किया जाता है और ठोस पदार्थ (जैसे नमक) बच जाता है, तो इस विधि को वाष्पीकरण कहते हैं।

19. वाष्पीकरण की प्रक्रिया में कौन-कौन से उपकरण उपयोग किए जाते हैं?

 उत्तर: पोर्सलीन की प्याली

त्रिपाद स्टैण्ड

तार की जाली

लैम्प (स्पिरिट लैम्प)

चम्मच

नमक तथा पानी

20. समुद्र के जल से नमक कैसे प्राप्त किया जाता है?

उत्तर: समुद्री जल को छोटी-छोटी क्यारियों में एकत्र किया जाता है। सूर्य की गर्मी से पानी वाष्प बनकर उड़ जाता है और नमक क्यारियों में बच जाता है। इस प्रक्रिया को वाष्पीकरण कहते हैं।

21. वाष्पीकरण विधि का दैनिक जीवन में कहाँ उपयोग होता है?

 उत्तर: समुद्री जल से नमक बनाने में

चीनी व नमक को अलग करने के लिए

गंदे पानी से साफ ठोस पदार्थ निकालने के लिए

22. खदानों से प्राप्त कोयले से लोहे के टुकड़ों को पृथक करने के लिए किस विधि का उपयोग किया जाता है?

उत्तर: चुम्बकीय पृथक्करण विधि का उपयोग किया जाता है क्योंकि लोहे के टुकड़े चुम्बक से आकर्षित हो जाते हैं जबकि कोयला नहीं।

 23. मिट्टी के तेल तथा पानी के मिश्रण को आप किस विधि से पृथक करेंगे? सचित्र स्पष्ट कीजिए।

 उत्तर: मिट्टी के तेल और पानी को पृथक्कारी कीप (Separating Funnel) द्वारा पृथक किया जाता है।
यह दोनों द्रव अमिश्रणीय होते हैं — पानी भारी होता है और नीचे बैठता है, जबकि मिट्टी का तेल ऊपर रहता है।
चित्र: (आप चाहें तो मैं इसका चित्र बना कर दे सकता हूँ।)

24. दैनिक जीवन में निधारने की विधि द्वारा पृथक्करण के दो उदाहरण दीजिए।

उत्तर: चावल धोने के बाद ऊपर का पानी अलग करना।

मिट्टी मिले पानी को स्थिर रखने के बाद ऊपर का साफ पानी अलग करना।

25. भारण (Loading) क्या है?

 उत्तर: जब गंदले जल में फिटकरी घुमाई जाती है, तो यह मिट्टी के कणों को भारी बना देती है। वे नीचे बैठ जाते हैं और जल साफ हो जाता है। इस प्रक्रिया को भारण कहते हैं।

26. अपकेंद्रण (Centrifugation) क्या है?

 उत्तर: जब किसी मिश्रण को तेज़ी से घुमाया जाता है, तो भारी कण बाहर की ओर जाकर नीचे बैठ जाते हैं। इस प्रक्रिया को अपकेंद्रण कहते हैं।
उदाहरण – दूध से क्रीम निकालना, प्रयोगशालाओं में रक्त कोशिकाएँ पृथक करना।

27. छानने (Filtration) की विधि क्या है?

 उत्तर: जब किसी मिश्रण को छन्ना कागज से गुजारा जाता है, तो उसमें मौजूद अविलेय ठोस पदार्थ (जैसे मिट्टी) छन्ना कागज पर रुक जाते हैं और तरल भाग नीचे निकल आता है। इस विधि को छानना कहते हैं।

 28. छानने की प्रक्रिया में किन उपकरणों का उपयोग किया जाता है?

 उत्तर: बीकर, कीप, छन्ना कागज, काँच की छड़, स्टैण्ड, प्याली आदि का उपयोग किया जाता है।

29. छानने की विधि का दैनिक जीवन में कहाँ उपयोग होता है?

 उत्तर: घरों में जल फिल्टर द्वारा पानी छानने में।

दूध से मलाई छानने में।

पेय पदार्थों से अशुद्धियाँ हटाने में।

30. जल शोधन संयंत्रों में किन विधियों का प्रयोग होता है?

 उत्तर: अवसादन (Sedimentation)

निधारना (Decantation)

भारण (Loading)

छानना (Filtration)

31. सिरेमिक फिल्टर (Ceramic Candle Filter) कैसे कार्य करता है?

 उत्तर: यह एक सरंध (porous) वस्तु होती है जो पानी में मौजूद ठोस अशुद्धियों को रोक लेती है। साफ जल केण्डल के नीचे एकत्रित हो जाता है और पीने योग्य बन जाता है।

32. छन्ना कागज को शकु (कोन) की आकृति में कैसे मोड़ा जाता है?

 उत्तर: पहले छन्ना कागज को दो बार मोड़ा जाता है।

इसके बाद एक भाग को खोलकर कोन बनाया जाता है।

इसे कीप में इस तरह लगाया जाता है कि वह अच्छे से बैठ जाए।

33. जल संस्थानों में जल को शुद्ध करने के लिए किन विधियों का प्रयोग किया जाता है?

 उत्तर: जल को शुद्ध करने के लिए निम्नलिखित विधियाँ अपनाई जाती हैं –

अवसादन (Sedimentation)

निधारना (Decantation)

भारण (Loading)

छानना (Filtration)

क्लोरीनीकरण (Chlorination) – हानिकारक जीवाणुओं को नष्ट करने के लिए।

34. मल-जल को साफ करने के लिए किस विधि का प्रयोग किया जाता है?

 उत्तर: मल-जल को साफ करने के लिए धातु के बड़े फिल्टरों द्वारा छाना जाता है जिससे ठोस अशुद्धियाँ अलग हो जाती हैं और नालियाँ नहीं रुकतीं।

 35. नालियों में पॉलीथीन और कचरा क्यों नहीं डालना चाहिए?

 उत्तर: नालियों में पॉलीथीन और घर का कचरा डालने से जल निकासी रुक जाती है, जिससे मलजल जाम हो जाता है और गंदगी फैलती है।

35. वाष्पीकरण (Evaporation) क्या है?

 उत्तर: जब किसी द्रव मिश्रण को गरम कर उसमें से विलायक (जैसे जल) को वाष्प बनाकर अलग किया जाता है और ठोस पदार्थ (जैसे नमक) बच जाता है, तो इस विधि को वाष्पीकरण कहते हैं।

 36. वाष्पीकरण की प्रक्रिया में कौन-कौन से उपकरण उपयोग किए जाते हैं?

उत्तर: पोर्सलीन की प्याली

त्रिपाद स्टैण्ड

तार की जाली

लैम्प (स्पिरिट लैम्प)

चम्मच

नमक तथा पानी

 37. समुद्र के जल से नमक कैसे प्राप्त किया जाता है?

 उत्तर: समुद्री जल को छोटी-छोटी क्यारियों में एकत्र किया जाता है। सूर्य की गर्मी से पानी वाष्प बनकर उड़ जाता है और नमक क्यारियों में बच जाता है। इस प्रक्रिया को वाष्पीकरण कहते हैं।

38. वाष्पीकरण विधि का दैनिक जीवन में कहाँ उपयोग होता है?

 उत्तर: समुद्री जल से नमक बनाने में

चीनी व नमक को अलग करने के लिए

गंदे पानी से साफ ठोस पदार्थ निकालने के लिए

 39. क्रिस्टलीकरण क्या है?

 उत्तर: जब किसी पदार्थ को उसके संतृप्त (saturated) गर्म विलयन से छानकर ठंडा किया जाता है और वह शुद्ध क्रिस्टलों के रूप में बाहर आता है, तो इस प्रक्रिया को क्रिस्टलीकरण कहते हैं।

 40. क्रिस्टलीकरण की प्रक्रिया में किन उपकरणों की आवश्यकता होती है?

 उत्तर: बीकर

काँच की छड़

त्रिपाद स्टैण्ड

तार की जाली

स्पिरिट लैम्प

कीप

छन्ना कागज

नीलाथोथा (कॉपर सल्फेट)

जल

 41. क्रिस्टलीकरण द्वारा किस पदार्थ के क्रिस्टल बनाए गए?

 उत्तर: नीलाथोथा (कॉपर सल्फेट) के शुद्ध क्रिस्टल बनाए गए।

 42. आसवन क्या है?

 उत्तर: जब किसी विलयन को गर्म करके वाष्पीकरण किया जाता है और फिर उस वाष्प को ठंडा करके संघनन द्वारा दोबारा द्रव में बदला जाता है, तो इस प्रक्रिया को आसवन (Distillation) कहते हैं।

 43. आसवन में किन दो प्रक्रियाओं का उपयोग होता है?

 उत्तर: वाष्पीकरण (Evaporation)

संघनन (Condensation)

44. आसवन की क्रिया में उपयोग होने वाले मुख्य उपकरण कौन-कौन से हैं?

 उत्तर: कोनिकल फ्लास्क

काँच की समकोण पर मुड़ी नली

कार्क

परखनली

त्रिपाद स्टैण्ड

स्पिरिट लैम्प

बीकर

बर्फ

45. आसवन की प्रक्रिया में क्या प्राप्त होता है?

उत्तर: हमें शुद्ध आसुत जल (Distilled Water) प्राप्त होता है, और नमक फ्लास्क में रह जाता है।

 46. जल चक्र में आसवन कैसे होता है?

 उत्तर: सूरज की गर्मी से नदी, नालों और समुद्र का पानी वाष्प बनकर ऊपर उठता है (वाष्पीकरण), फिर बादल बनते हैं और ठंडा होकर वर्षा बनकर गिरता है (संघनन)। यही प्रक्रिया प्राकृतिक आसवन कहलाती है।

 47. ऊर्ध्वपातन क्या है?

 उत्तर: जब कोई ठोस पदार्थ बिना द्रव अवस्था में आए सीधे गैस में बदल जाता है और पुनः गैस से ठोस में बदल जाता है, तो इस प्रक्रिया को ऊर्ध्वपातन (Sublimation) कहते हैं।

 48. ऊर्ध्वपातन की प्रक्रिया में कौन सा पदार्थ गैस में बदलता है?

 उत्तर: नौसादर (अमोनियम क्लोराइड) ऊर्ध्वपातन प्रक्रिया में गैस में बदलता है और ठंडा होने पर ठोस रूप में जमा हो जाता है।

 49. ऊर्ध्वपातन में उपयोग होने वाले उपकरण कौन-कौन से हैं?

 उत्तर: पोर्सलीन की प्याली

स्पिरिट लैम्प

त्रिपाद स्टैण्ड

तार की जाली

काँच की कीप

रुई

नमक और नौसादर का मिश्रण

 50. किन अन्य पदार्थों में भी ऊर्ध्वपातन होता है?

उत्तर: कपूर, आयोडीन और नैफ्थलीन (डामर गोली) में भी ऊर्ध्वपातन की क्रिया होती है।

51. लौह चूर्ण, रेत और नमक को कैसे पृथक किया जा सकता है? (एक से अधिक विधियों का प्रयोग)

 उत्तर: चुम्बक द्वारा — लौह चूर्ण को अलग किया जाता है।

जल में घुलाकर छानने से — रेत पृथक हो जाती है।

वाष्पीकरण द्वारा — पानी के वाष्प बनने पर नमक बच जाता है।

 53. जब चुम्बक मिश्रण के ऊपर घुमाया जाता है, तो कौन सा पदार्थ पृथक होता है?

 उत्तर: लौह चूर्ण (Iron filings) चुम्बक द्वारा आकर्षित होकर पृथक हो जाता है।

 54. निम्नलिखित में से किस मिश्रण को हाथ से बीनकर पृथक किया जा सकता है?

अ. साधारण नमक तथा रेत

ब. लकड़ी का बुरादा तथा लौह चूर्ण

स. चावल तथा कंकड़

 उत्तर: स. चावल तथा कंकड़

 55. दाल को धोकर साफ करने में किस विधि का प्रयोग किया जाता है?

अ. फटकना

ब. हाथ से बीनना

स. चालना

द. निधारना

उत्तर: स. चालना

 3. लोहे और कोयले के चूर्ण को पृथक करने के लिए किस विधि का प्रयोग किया जाता है?

अ. वाष्पीकरण

ब. फटकना

स. चुम्बकीय पृथक्करण

द. निधारना

 उत्तर: स. चुम्बकीय पृथक्करण

 4. आयोडीन और नमक के मिश्रण से आयोडीन को पृथक करने की विधि है-

अ. वाष्पीकरण

ब. निधारना

स. चुम्बकीय पृथक्करण

द. ऊर्ध्वपातन

 उत्तर: द. ऊर्ध्वपातन
(आयोडीन और नमक के मिश्रण से आयोडीन को ऊर्ध्वपातन विधि द्वारा पृथक किया जाता है।)

 5. गंदे पानी में फिटकरी मिलाना किस विधि का उदाहरण है?

 उत्तर: वाष्पीकरण
(गंदे पानी में फिटकरी मिलाकर उसे साफ किया जाता है, जो वाष्पीकरण प्रक्रिया का हिस्सा है।)

 6. डामर गोली (नैफ्थलीन) तथा रेत के मिश्रण को किस प्रकार पृथक करेंगे?

 उत्तर: नैफ्थलीन (डामर गोली) और रेत के मिश्रण को सुबलीमेशन (Sublimation) विधि द्वारा पृथक किया जा सकता है। नैफ्थलीन गर्म होने पर गैस में बदल जाता है, और फिर ठंडी सतह पर ठोस रूप में वापस जमा हो जाता है, जबकि रेत का कोई बदलाव नहीं होता।

7. नारियल तेल तथा पानी के मिश्रण को पृथक करने के लिये प्रयुक्त विधि को समझाइए।

 उत्तर: नारियल तेल और पानी के मिश्रण को अवसादन (Decantation) और अपकेंद्रण (Centrifugation) विधियों द्वारा पृथक किया जा सकता है। नारियल तेल पानी के ऊपर तैरता है, इसलिए पानी को सावधानी से हटा लिया जाता है, या फिर मिश्रण को घुमाकर तेल और पानी को अलग किया जा सकता है।

 8. फिटकरी के विलयन से फिटकरी कैसे पृथक करेंगे?

 उत्तर: फिटकरी के विलयन से फिटकरी को वाष्पीकरण (Evaporation) या विसरण (Filtration) द्वारा पृथक किया जा सकता है। वाष्पीकरण में पानी को उबालकर भाप को उड़ा दिया जाता है, और फिटकरी के क्रिस्टल रह जाते हैं। अगर यह विलयन घुला हुआ न हो, तो फिल्ट्रेशन द्वारा इसे पृथक किया जा सकता है।

 9. दूध से मक्खन प्राप्त करने की विधि को समझाइए।

 उत्तर: दूध से मक्खन प्राप्त करने के लिए वृद्धि (Churning) विधि का प्रयोग किया जाता है। इसमें दूध को मथने के बाद उसमें से मक्खन निकलता है। यह प्रक्रिया दूध में उपस्थित घी (बटरफैट) को अलग करने के लिए की जाती है।

 10. समुद्री जल से नमक किस प्रकार प्राप्त किया जाता है?

 उत्तर: समुद्री जल से नमक वाष्पीकरण (Evaporation) विधि द्वारा प्राप्त किया जाता है। समुद्र के पानी को उबालकर उसमें से पानी वाष्पीकृत हो जाता है और शेष बचा नमक एकत्रित किया जाता है।

 11. किसी मिश्रण के अवयवों के पृथक्करण की विधि के चुनाव के क्या आधार है?

 उत्तर: किसी मिश्रण के अवयवों को पृथक करने की विधि का चुनाव उनके भौतिक गुणों जैसे घुलनशीलता, बर्फ का तापमान, घनत्व, आकार, चुंबकीय गुण, आदि के आधार पर किया जाता है।

12. नदी के पानी को पीने योग्य बनाने के लिए जल शोधन संयंत्र में प्रयुक्त की जाने वाली पृथक्करण की चार विधियाँ क्या हैं?

 उत्तर: नदी के पानी को शुद्ध करने के लिए विलयन, फिल्ट्रेशन, वाष्पीकरण, और चुंबकीय पृथक्करण विधियाँ प्रयुक्त की जाती हैं।

 13. आसवन विधि का सचित्र वर्णन कीजिए।

उत्तर: आसवन (Distillation) विधि में मिश्रण को गर्म किया जाता है, जिससे एक घटक (आमतौर पर द्रव) वाष्पित हो जाता है। वाष्प को ठंडा करके फिर से द्रव रूप में बदल लिया जाता है, जबकि दूसरे घटक (जो उबालने का तापमान उच्च होता है) मिश्रण में रहता है।

 14. अपने आस-पास ऐसे उदाहरण खोजिए तथा अपनी कॉपी में लिखिए, जहाँ अवसादन या निधारने की प्रक्रिया हो रही हो।

 उत्तर: उदाहरण के लिए, नदी के पानी में फिटकरी का प्रयोग जल को शुद्ध करने के लिए किया जाता है। फिटकरी पानी में घुलने के बाद पानी के गंदे कणों को आकर्षित करती है और जमा करती है, यह अवसादन की प्रक्रिया है।