Chapter 8
बच्चे की दुआ
1. कवि का नाम लिखिए और कविता का मुख्य विषय समझाइए।
उत्तर: इस कविता के कवि मोहम्मद इक़बाल हैं। यह कविता एक विनम्र प्रार्थना के रूप में प्रस्तुत की गई है, जिसमें कवि अपनी जीवन-आकांक्षाओं को ईश्वर के समक्ष रखता है। कवि की इच्छा है कि उसका जीवन समाज के लिए लाभदायक हो, उसके कार्यों से लोगों के जीवन में प्रकाश फैले और अज्ञानता तथा बुराई का अंधकार दूर हो। वह चाहता है कि उसका देश सुंदर, समृद्ध और नैतिक मूल्यों से परिपूर्ण बने। पूरी कविता मानवता, सेवा, ज्ञान, सच्चाई और देशप्रेम की भावना से ओत-प्रोत है, जो मनुष्य को श्रेष्ठ जीवन जीने की प्रेरणा देती है।
2. कवि किन-किन चीज़ों की चाह रखता है?
उत्तर: कवि अनेक सुंदर इच्छाएँ प्रकट करता है। वह चाहता है कि उसका जीवन एक शम्मा की तरह हो, जो स्वयं जलकर दूसरों के जीवन में उजाला फैलाए। उसकी कामना है कि उसकी रोशनी से संसार का अंधकार मिट जाए और उसका वतन उसके कारण और अधिक रोशन व सुंदर बने। कवि यह भी चाहता है कि वह सदैव गरीबों, दुखियों और वृद्धों की सेवा करता रहे तथा उनके जीवन में सुख और सहारा दे। अंत में, वह ईश्वर से प्रार्थना करता है कि उसे सदैव बुराई से दूर रखे और सच्चाई व नेकी के मार्ग पर चलने की प्रेरणा दे।
3. कविता में कवि ने अपनी ज़िन्दगी को ‘शम्मा’ से क्यों तुलना की है?
उत्तर:कवि ने अपनी ज़िन्दगी की तुलना ‘शम्मा’ से इसलिए की है क्योंकि शम्मा स्वयं जलकर चारों ओर प्रकाश फैलाती है और अंधकार को मिटाती है। इसी प्रकार कवि भी चाहता है कि उसका जीवन दूसरों के काम आए, उसके कार्यों से लोगों के जीवन में रोशनी और ज्ञान फैले। यह तुलना इस बात को प्रकट करती है कि कवि अपने जीवन को सेवा, त्याग और परोपकार के लिए समर्पित करना चाहता है ताकि उसकी ज़िन्दगी मानवता के लिए प्रेरणास्रोत बने।
4. “दूर दुनिया का मेरे दम से अंधेरा हो जाए” — इस पंक्ति का भावार्थ लिखिए।
उत्तर: इस पंक्ति में कवि की यह इच्छा व्यक्त हुई है कि उसके जीवन का उद्देश्य मानवता की भलाई हो। वह चाहता है कि उसके प्रयासों से संसार का अंधकार — अर्थात अज्ञान, अन्याय, और दुःख — समाप्त हो जाए। उसके जीवन से ज्ञान, प्रेम और सत्य का प्रकाश फैले। यह पंक्ति कवि की सेवा, समर्पण और समाज को उज्ज्वल बनाने की भावना को दर्शाती है।
5. कवि अपने वतन की जीनत किस प्रकार बनना चाहता है?
उत्तर: कवि यह चाहता है कि उसके जीवन से उसके वतन की शोभा बढ़े, जैसे एक फूल अपनी सुंदरता और खुशबू से पूरे बाग़ की रौनक बढ़ा देता है। वह अपने कर्मों, ज्ञान और सेवा के माध्यम से अपने देश को गौरवान्वित करना चाहता है। उसकी आकांक्षा है कि उसका अस्तित्व उसके वतन के उत्थान और सम्मान का कारण बने।
6. ‘इल्म की शम्मा से हो मुझको मुहब्बत या रब’ — इस पंक्ति का भाव स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:इस पंक्ति में कवि अपनी यह कामना व्यक्त करता है कि वह ज्ञान और शिक्षा के प्रति हमेशा स्नेह और प्रेम बनाए रखे। वह अल्लाह से प्रार्थना करता है कि उसे शिक्षा के प्रकाश से प्रेरित होकर सीखने और समझने की क्षमता मिलती रहे। यह पंक्ति शिक्षा के महत्व और व्यक्तिगत व आत्मिक विकास का प्रतीक है।
7. कवि किसकी हिमायत करना चाहता है? क्यों?
उत्तर: कवि यह चाहता है कि वह गरीबों की रक्षा और सहायता करे। उसके अनुसार समाज में सच्ची भलाई तभी संभव है जब हम कमजोर, जरूरतमंद और दुखी लोगों का सहारा बनें। कवि की यह कामना है कि उसका जीवन ऐसे कार्यों में व्यतीत हो जो दूसरों के लिए लाभकारी और समाजहितैषी हों।
8. ‘दर्दमंदों और ज़ईफ़ों से मुहब्बत करना’ का अर्थ और भाव स्पष्ट करें।
उत्तर: इस पंक्ति में कवि यह व्यक्त करता है कि वह दुखी और पीड़ित लोगों तथा वृद्धों के प्रति सच्चा प्रेम और सहानुभूति रखे। दर्दमंद का अर्थ है वे लोग जो दुःख या कष्ट में हैं, और ज़ईफ़ों का अर्थ है वृद्ध या कमजोर लोग। कवि चाहता है कि उसके हृदय में इन लोगों के प्रति करुणा और सेवा की भावना हमेशा बनी रहे, जो मानवता और दया के मूल्यों को उजागर करती है।
9. कविता में संसार को बेहतर बनाने की कौन-सी कामनाएँ दिखाई देती हैं?
उत्तर: कविता में कवि यह कामना करता है कि उसका जीवन दूसरों के लिए एक प्रेरणा बन सके। वह चाहता है कि उसके प्रयासों से समाज में अज्ञान और अंधकार दूर हों, शिक्षा और ज्ञान का प्रकाश फैलें, गरीबों और दुखियों को मदद मिले, और हर स्थान पर प्रेम, सेवा और भलाई का माहौल कायम हो। यही कवि की वास्तविक प्रार्थना और उद्देश्य है।
10. “अल्लाह बुराई से बचाना मुझको” – इस पंक्ति में कवि क्या कहना चाहता है?
उत्तर: इस पंक्ति में कवि यह प्रकट करता है कि वह अल्लाह से प्रार्थना करता है कि उसे किसी भी प्रकार की बुराई, गलत कर्म या अन्याय से सुरक्षित रखें। वह चाहता है कि उसका जीवन हमेशा सत्य, ईमानदारी और नैतिकता के मार्ग पर आधारित रहे। यह पंक्ति कवि की आत्मसंयम, धार्मिकता और सच्चाई के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाती है।
11. कविता में कवि ने किन शब्दों के माध्यम से अपनी भलाई की भावना प्रकट की है?
उत्तर: कविता में कवि ने अपनी भलाई और परोपकार की भावना को व्यक्त करने के लिए शब्दों जैसे ‘हिमायत’, ‘मुहब्बत’ और ‘नेक राह’ का प्रयोग किया है। इन शब्दों के माध्यम से उसने सेवा, करुणा, प्रेम और सत्य के महत्व को उजागर किया है, जिससे उसकी निस्वार्थ सोच और समाज के प्रति उसकी प्रतिबद्धता स्पष्ट होती है।
12. कवि अपने जीवन को परवाने की सूरत क्यों बनाना चाहता है?
उत्तर: कवि अपने जीवन को परवाने की सूरत इसलिए बनाना चाहता है क्योंकि परवाना दीपक के पास जाकर खुद जल जाता है, लेकिन इससे प्रकाश फैलता है। उसी तरह कवि भी चाहता है कि उसका जीवन दूसरों की भलाई और कल्याण के लिए समर्पित हो। यह जीवन-दर्शन त्याग, निस्वार्थ सेवा और प्रेम की भावना को दर्शाता है।
13. “हो मेरे दम से यूँ ही मेरे वतन की ज़ीनत” – पंक्ति का भावार्थ दीजिए।
उत्तर: इस पंक्ति में कवि की यह इच्छा प्रकट होती है कि उसके जीवन और कर्मों से उसके देश की शोभा बढ़े, वह गौरवपूर्ण और प्रगतिशील बने। कवि चाहता है कि उसका जीवन देश की भलाई और सेवा में समर्पित हो, जिससे वतन की गरिमा और सुंदरता में इजाफा हो।
14. कविता में कौन-सा धार्मिक भाव निहित है?
उत्तर: कविता में एक गहरा धार्मिक भाव देखा जा सकता है, जो ईश्वर के प्रति प्रेम, सत्य और भलाई के मार्ग पर चलने की इच्छा से जुड़ा है। कवि अल्लाह से प्रार्थना करता है कि उसे सदैव अच्छे कर्म करने, दूसरों की सहायता करने और समाज की सेवा करने की शक्ति और प्रेरणा मिलती रहे।
15. “लब पे आती है दुआ बनके तमन्ना मेरी” का शाब्दिक अर्थ और भावार्थ लिखिए।
उत्तर: शाब्दिक अर्थ – मेरी तमन्ना मेरे होंठों पर दुआ के रूप में प्रकट होती है।
भावार्थ – कवि की सभी इच्छाएँ इस प्रकार हैं कि वे ईश्वर के समक्ष प्रार्थना बनकर प्रस्तुत होती हैं। उसकी कामनाएँ निस्वार्थ हैं और समाज तथा दूसरों की भलाई को ध्यान में रखकर की जाती हैं।16. कविता में कवि ने अपने जीवन को किन-किन प्रतीकों से जोड़ा है?
उत्तर: कवि ने अपने जीवन की तुलना विभिन्न प्रतीकों से की है जैसे ‘शम्मा’ (दीपक), ‘परवाना’ और ‘फूल’। इन प्रतीकों के माध्यम से कवि अपने जीवन में त्याग, सेवा, ज्ञान और सुंदरता की भावनाएँ व्यक्त करता है। यह दर्शाता है कि वह चाहता है कि उसका जीवन दूसरों के लिए रोशनी और प्रेरणा का स्रोत बने।
17. कवि के अनुसार शिक्षा का महत्व क्या है?
उत्तर:कवि के दृष्टिकोण में शिक्षा वह प्रकाश है जो व्यक्ति की आत्मा को प्रकाशित करती है। यह अज्ञानता और अंधकार को दूर कर सच्चाई और भलाई के मार्ग पर चलने की प्रेरणा देती है। शिक्षा से ही मनुष्य में करुणा, प्रेम और सेवा की भावना विकसित होती है, जो उसके जीवन और समाज दोनों के लिए लाभकारी है।
18. कविता का नैतिक संदेश क्या है?
उत्तर: कविता यह संदेश देती है कि व्यक्ति का जीवन केवल अपने लिए नहीं बल्कि दूसरों के लाभ और समाज की भलाई के लिए होना चाहिए। हमें शिक्षा, प्रेम, सेवा और भलाई के मार्ग को अपनाकर अपने और समाज के जीवन को उज्ज्वल और सकारात्मक बनाना चाहिए।
19. इस कविता में ‘वतन प्रेम’ की भावना किस तरह व्यक्त हुई है?
उत्तर: कविता में वतन के प्रति प्रेम इस प्रकार व्यक्त हुआ है कि कवि चाहता है कि उसके जीवन और कर्मों से उसके देश की सुंदरता और गरिमा बढ़े। वह अपनी ज़िन्दगी को देश की सेवा और उसके कल्याण के लिए समर्पित करना चाहता है। ये पंक्तियाँ उसके गहरे देशभक्ति और वतनप्रेम की भावना को प्रकट करती हैं।
20. कविता में धार्मिकता और मानवता का क्या संबंध दिखाया गया है?
उत्तर: कविता में यह दर्शाया गया है कि धार्मिकता और मानवता आपस में जुड़े हुए हैं। कवि के अनुसार असली धर्म वही है जो मानवता की सेवा करना सिखाए। ईश्वर की उपासना केवल प्रार्थना या शब्दों तक सीमित नहीं है, बल्कि दूसरों की सहायता और अच्छे कार्यों में स्वयं को समर्पित करने से होती है।
21. कवि का जीवन-दर्शन क्या है?
उत्तर: कवि का जीवन-दर्शन इस आधार पर है कि जीवन का उद्देश्य दूसरों की भलाई, शिक्षा का प्रचार और सच्चाई के मार्ग पर चलना होना चाहिए। वह चाहता है कि उसका जीवन समाज के लिए उपयोगी साबित हो, वह बुराई से दूर रहे और सदैव न्याय, सत्य और धर्म के मार्ग पर अग्रसर रहे।
22. कविता में किन मानवीय मूल्यों का उल्लेख हुआ है?
उत्तर: कविता में अनेक मानवीय मूल्य व्यक्त किए गए हैं, जिनमें दया, सेवा, सहानुभूति, शिक्षा का महत्व, सच्चाई, त्याग और देशभक्ति प्रमुख हैं। ये मूल्य कवि की सोच और जीवन के उद्देश्य को स्पष्ट रूप से दर्शाते हैं, और पाठक को भी इन्हें अपनाने की प्रेरणा देते हैं।
23. कवि किससे प्रेरणा लेता है?
उत्तर: कवि अपनी प्रेरणा ईश्वर (अल्लाह) से प्राप्त करता है, ताकि वह जीवन को सही मार्ग पर चलाकर समाज की सेवा कर सके और सत्य, भलाई और नैतिकता के सिद्धांतों का पालन कर सके।
24. ‘अल्लाह और ईश्वर में कोई फर्क नहीं है’ — इस बात को स्पष्ट कीजिए।
उत्तर: ‘अल्लाह’ और ‘ईश्वर’ दोनों ही उसी सर्वशक्तिमान परमात्मा के अलग-अलग नाम हैं। हालांकि भाषाई और धार्मिक परंपराएँ भिन्न हो सकती हैं, परंतु उनकी शक्ति, न्याय और करुणा एक ही है। ये दोनों नाम मानवता, प्रेम और भलाई के प्रतीक हैं और इंसान के लिए मार्गदर्शन प्रदान करते हैं।
25. “इल्म की शम्मा से हो मुझको मुहब्बत” – इसमें किस आदर्श की झलक मिलती है?
उत्तर: इस पंक्ति में यह आदर्श दिखाई देता है कि व्यक्ति को ज्ञान और शिक्षा से प्रेम करना चाहिए और जीवनभर सीखते रहने की प्रवृत्ति बनाए रखनी चाहिए। यह शिक्षा के प्रति समर्पण, जिज्ञासा और सीखने की भावना को स्पष्ट रूप से व्यक्त करता है।
26. बुजुर्गों की देखभाल के बारे में कवि के विचार से आप क्या सीखते हैं?
उत्तर: कवि से यह सीख मिलती है कि हमें अपने घर और समाज के बुजुर्गों का सम्मान और आदर करना चाहिए। उनकी देखभाल करना, उनकी सहायता करना और उनके अनुभवों से जीवन में मार्गदर्शन लेना आवश्यक है। यह मानवता और करुणा का परिचायक है।
27. कविता में किन शब्दों में नुक्ता है?
उत्तर: कविता में जिन शब्दों में नुक्ता का प्रयोग हुआ है, उनमें प्रमुख हैं – ज़िन्दगी, इल्म, मुहब्बत, ज़ईफ़ों, जीनत, वतन, दर्दमंद, नेक, रह आदि। ये शब्द अर्थ और उच्चारण में विशिष्टता लाने के लिए नुक्ते के साथ लिखे गए हैं।
28. ‘नुक्ता’ क्या होता है और इसका क्या प्रभाव होता है?
उत्तर: किसी अक्षर के नीचे लगाया गया छोटा बिंदु नुक्ता कहलाता है। नुक्ते के प्रयोग से अक्षर का उच्चारण और अर्थ दोनों बदल सकते हैं। उदाहरण के रूप में – फन (कला) और फन (साँप का सिर)। यह भाषा में सही अर्थ और स्पष्टता लाने में मदद करता है।
29. ‘हिमायत’ शब्द का अर्थ बताइए और वाक्य बनाइए।
उत्तर: ‘हिमायत’ का अर्थ है किसी की सहायता या रक्षा करना।
30. कवि की दुआ किन-किन बातों पर केंद्रित है?
उत्तर: कवि की दुआ मुख्यतः शिक्षा, सेवा, करुणा, मानवता, देशभक्ति और ईश्वर भक्ति पर आधारित है। उसकी सभी इच्छाएँ और प्रार्थनाएँ दूसरों की भलाई और समाज की उन्नति के लिए केंद्रित हैं।
31. कविता में कौन-सी पंक्तियाँ प्रार्थना का रूप लिए हुए हैं?
उत्तर: कविता में “लब पे आती है दुआ बनके तमन्ना मेरी” और “अल्लाह बुराई से बचाना मुझको” जैसी पंक्तियाँ सीधे प्रार्थनात्मक स्वर में हैं। ये पंक्तियाँ कवि की कामनाओं और ईश्वर से प्रार्थना करने की भावना को स्पष्ट रूप से व्यक्त करती हैं।
32. कविता में कवि ने किन आदर्शों का उल्लेख किया है?
उत्तर: कविता में कवि ने अनेक आदर्शों का उल्लेख किया है, जिनमें शिक्षा के प्रति प्रेम, सेवा और त्याग की भावना, करुणा, ईश्वर भक्ति और देशप्रेम मुख्य रूप से दिखाई देते हैं। ये आदर्श जीवन के नैतिक और सामाजिक मूल्यों को उजागर करते हैं।
33. “नेक जो राह हो, उस रह पे चलाना मुझको” – इस पंक्ति में क्या प्रार्थना है?
उत्तर: इस पंक्ति में कवि अल्लाह से यह प्रार्थना करता है कि उसे हमेशा नेक और सत्य मार्ग पर चलने की क्षमता और शक्ति प्रदान की जाए, ताकि उसका जीवन सच्चाई और भलाई के मार्ग पर अग्रसर रहे।
34. “फूल से होती है चमन की ज़ीनत” का निहित भाव क्या है?
उत्तर: इस पंक्ति का निहित भाव यह है कि जिस प्रकार फूल बगीचे की सुंदरता और शोभा बढ़ाता है, उसी प्रकार एक गुणी और नेक व्यक्ति अपने देश की प्रतिष्ठा और गौरव को बढ़ाता है। यह समाज में सद्गुण और योगदान का प्रतीक है।
35. कविता में परोपकार की भावना कैसे झलकती है?
उत्तर: कविता में परोपकार की भावना इस तरह झलकती है कि कवि दूसरों के दुख और कष्ट दूर करने, गरीबों और जरूरतमंदों की मदद करने तथा बुराई और अन्याय से दूर रहने की इच्छा व्यक्त करता है। यह उसकी मानवता और निस्वार्थ सेवा की भावना को स्पष्ट रूप से प्रदर्शित करती है।
36. कविता में प्रयुक्त प्रतीकों की सूची लिखिए।
उत्तर: कविता में प्रयुक्त प्रमुख प्रतीक हैं – शम्मा (दीपक), परवाना, फूल, चमन, वतन, राह, और दुआ। ये प्रतीक ज्ञान, सेवा और त्याग, सौंदर्य, देशभक्ति, मार्गदर्शन और प्रार्थना जैसी उच्च मानवीय और नैतिक भावनाओं का प्रतिनिधित्व करते हैं।
37. कविता में कवि के हृदय की कौन-सी भावनाएँ झलकती हैं?
उत्तर: कविता में कवि के हृदय की भावनाएँ प्रेम, सेवा, शिक्षा के प्रति लगाव, मानवता, करुणा, देशभक्ति और ईश्वर भक्ति जैसी उच्च मानवीय और नैतिक गुणों से परिपूर्ण हैं। ये भावनाएँ उसके जीवन-दर्शन और उद्देश्य को स्पष्ट रूप से दर्शाती हैं।
38. कवि किस प्रकार का समाज बनाना चाहता है?
उत्तर: कवि का सपना ऐसा समाज बनाने का है जहाँ प्रत्येक व्यक्ति शिक्षित, दयालु, ईमानदार और दूसरों की सहायता करने वाला हो। वह चाहता है कि वहां ज्ञान और प्रेम की रोशनी फैले और अज्ञान, बुराई तथा अन्याय का अंत हो।
39. कविता का मुख्य उद्देश्य क्या है?
उत्तर: कविता का मुख्य उद्देश्य यह है कि व्यक्ति अपने जीवन में मानवता, शिक्षा, सेवा और सच्चाई के मूल्य अपनाए। इसके माध्यम से न केवल उसका व्यक्तिगत विकास हो बल्कि समाज का भी कल्याण और उन्नति सुनिश्चित हो सके।
40. कविता का सारांश अपने शब्दों में लिखिए।
उत्तर: “लब पे आती है दुआ बनके तमन्ना मेरी” एक प्रेरक कविता है जिसमें कवि मोहम्मद इक़बाल ने अपनी प्रार्थनाओं और जीवन के आदर्शों को व्यक्त किया है। वह चाहता है कि उसका जीवन शम्मा की तरह हो, जो स्वयं जलकर दूसरों को रोशनी दे। उसका उद्देश्य समाज में ज्ञान, भलाई और प्रेम का प्रसार करना है। कवि गरीबों, दुखियों और वृद्धों की सेवा करना चाहता है और ईश्वर से प्रार्थना करता है कि वह उसे बुराई से बचाए और सच्चाई के मार्ग पर चलने की शक्ति दे। पूरी कविता मानवता, शिक्षा और देशभक्ति का संदेश देती है।
Answer by Mrinmoee